अंधेरे में स्वामी विवेकानंद जी की प्रतिमा, निगम का नहीं है ध्यान

प्रभात कुमार • जागरण

राजधानी रांची के बड़ा तालाब के बीच में स्थित टापू में स्थापित 33 फीट ऊंची स्वामी विवेकानंद जी की भव्य प्रतिमा इन दिनों अंधेरे में डूबी हुई है। इस प्रतिमा को बड़ी शान के साथ 2019 में युवा दिवस के अवसर पर स्थापित किया गया था और इसे तालाब से करीब 50 फीट की ऊंचाई पर लगाया गया था। इस स्मारक की भव्यता में चार चाँद लगाने के लिए कई तरह की सुंदर रोशनियों वाली लाइट स्वामी जी के प्रतिमा के चारों ओर लगाई गई थी। लेकिन अब इन रोशनियों के बुझ जाने के बाद यह ऐतिहासिक प्रतिमा अंधेरे में गुम हो गई है।

लगभग 17 करोड़ रुपये की लागत से निर्मित इस प्रतिमा पर निगम का ध्यान नहीं देना चिंता का विषय है। स्वामी विवेकानंद जैसे महान विचारक और समाज सुधारक की प्रतिमा का यह अपमान जनभावना को आहत कर रही है। नगर निगम ने इसे सुधारने के लिए अभी तक कोई ठोस कदम नहीं उठाया है। यह उपेक्षा न केवल स्वामी विवेकानंद जी के प्रति सम्मान की कमी को दर्शाता है, बल्कि जनता के पैसों का दुरुपयोग भी प्रतीत होता है। स्थानीय लोगों का कहना है कि यहां निगम का मनमानी चलता है, निगम का मन होता है तब वो स्वामी जी के प्रतिमा के समक्ष लगे लाइट को जलाते हैं। बाकी के दिन स्वामी जी की प्रतिमा अंधेरे में रहती है।

प्रतिमा की नहीं होती है सफाई:

बड़ी भव्यता और बड़े धूमधाम के साथ स्वामी विवेकानंद जी के प्रतिमा की स्थापना बड़ातालाब में की गई थी। लेकिन, रांची नगर निगम साल में एक बार इस प्रतिमा की साफ़ - सफाई करवाता हैं। जिसके कारण प्रतिमा पर धूल और गंदगी जमने लगती है। यह महान विचारक और समाज सुधारक स्वामी विवेकानंद जी का अपमान जैसा प्रतीत होता है।

बंद पड़ा है प्रतिमा तक जाने वाला रास्ता:

बड़ा तालाब सभी के लिए आकर्षण का केंद्र हैं वहीं इसका ऐतिहासिक महत्व भी अधिक है। वहीं स्वामी जी की प्रतिमा के स्थापन के बाद यहां लोगों का आना लगा रहा लेकिन, पिछले कुछ दिनों से प्रतिमा तक जाने के रास्ते को बंद कर दिया गया है।

9.8 टन वजन और चार हिस्सों में बना है प्रतिमा:

बड़ा तालाब में स्थित स्वामी विवेकानंद जी की प्रतिमा का वजन लगभग 9.8 टन है। यह भव्य प्रतिमा चार अलग-अलग हिस्सों में बनाई गई है, जो मिलकर एक विशाल और प्रभावशाली रूप प्रस्तुत करती है।

इन्होंने यह कहा :

काफी समय से स्वामी विवेकानंद जी की प्रतिमा के पास लाइट नहीं जलती है। तालाब के चारों ओर लाइट जलती है, लेकिन प्रतिमा के पास लगे लाइट को नजरअंदाज किया जा रहा है। लंकेश सिंह

हर रोज स्वामी जी की प्रतिमा अंधेरे में रहती है, लेकिन नगर निगम इस ओर बिल्कुल भी ध्यान नहीं दे रहा है। राहुल सिंह, युवा दस्ता

नगर निगम का मन होता है तब ही लाइट चलाई जाती है। वहीं, प्रतिमा की सफाई भी नहीं की जा रही है। ऋषि गक्खर

स्वामी जी की प्रतिमा की उपेक्षा की जा रही है। पहले इसे भव्यता के साथ स्थापित किया गया था, लेकिन अब इस पर कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा है बबलू कुमार सोनी

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IIMC23 , प्रशिक्षु पत्रकार